जहां दबंगों ने तालाबों पर कब्जा किया है, कमेटी उन्हें मुक्त कराकर मछुआ समाज को सौंपेगी- मुख्यमंत्री शिवराज
भोपाल- मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने केवट जयंती के अवसर पर मुख्यमंत्री निवास पर आयोजित कार्यक्रम में प्रदेश भर से पधारे सामाजिक बंधुओं पर पुष्पवर्षा कर उनका स्वागत व अभिनंदन किया। इस दौरान सीएम चौहान ने प्रतीकात्मक नाव की पतवार भी चलाई।
मुख्यमंत्री ने कहा धन्य है केवट समाज और समाज का इतिहास…
हम भले, भोले, सीधे, सरल और अपने खून-पसीने की कमाई खाने वाले लोग हैं। हमने किसी को लूटा नहीं है, अपनी मेहनत पर अपने जीवन को बसर करते हैं और जब देश को जरूरत पड़ती है, तो अपने प्राणों को न्यौछावर भी कर देते हैं।
मछुआ समाज के हमारे भाई-बहन बहुत मेहनत से काम करते हैं।जितने भी तालाब या तालाब जैसी जल संरचनाएं हैं, उन पर पहला हक मछुआ समाज का है।
मैं इसके लिए तत्काल एक कमेटी बना रहा हूं ।
मुख्यमंत्री ने कहा कुछ जगह जहां दबंगों ने तालाबों पर कब्जा किया है, कमेटी उन्हें मुक्त कराकर मछुआ समाज को सौंपेगी। इसके लिए कमेटी सर्वे भी करेगी। अभियान पूरे प्रदेश में चलेगा, जो हमारे परंपरागत शासकीय तालाब हैं, उन पर पहला हक मछुआ, ढीमर, भोई, कहार, मांझी समाज का रहेगा, यह सुनिश्चित किया जाएगा।
समाज के कई लोग जिन्हें शासकीय सेवा, जाति प्रमाण पत्र के आधार पर मिल गई थी, लेकिन बाद में पैदा हुई विसंगति को दूर करने के लिए एक और कमेटी बनाई जाएगी।
जो शासकीय सेवा में हैं, वो बाहर नहीं किए जाएंगे। उनको पूरा संरक्षण देने का काम किया जाएगा।
हम यह भी तय करते हैं कि चिन्हित स्थानों पर विशाल निषादराज स्मारक बनाया जाएगा।
जहां-जहां समाज के बाहुल्य क्षेत्र हैं, वहां स्थान चिन्हित किए जाएंगे और निषादराज भवन बनाए जाएंगे और प्रतिमा लगाई जाएगी।
पारंपरिक कमलगट्टा की खेती को बढ़ावा देने के लिए आवश्यक कदम उठाए जाएंगे, ताकि रोजगार के अन्य साधन भी बढ़ सकें।
मुख्यमंत्री ने कहा मैं मछुआ कल्याण बोर्ड को जिम्मेदारी देता हूं कि शासकीय पदों पर भर्ती के लिए समाज के बच्चों के लिए कोचिंग क्लास चलाने की योजना बनाएं, राशि की व्यवस्था हम करेंगे।