भगवान राम और रामायण पर अंतराष्ट्रीय स्तर पर चिंतन शुरू
मप्र के जबलपुर में तीसरे वर्ल्ड रामायण कांफ्रेंस का आयोजन होने जा रहा है. यह आयोजन 6 से 8 जनवरी तक मानस भवन में आयोजित की गई। इस वर्ल्ड रामायण कॉन्फ्रेंस में देश ही नहीं, बल्कि विदेशों से भी रामायण पर शोध करने वाले विद्वान संस्कारधानी जबलपुर में शामिल हुए हैं। इस कॉन्फ्रेंस में 15 देशों के प्रतिनिधि भी इस कांफ्रेंस के जरिए रामायण पर किए गए अपने शोध पर व्याख्यान देंगे
“वर्ल्ड रामायण कॉन्फ्रेंस” कार्यक्रम में वीडियो कांफ्रेंस के माध्यम से मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान शामिल हुए, मुख्यमंत्री ने कहा कि मप्र के हर गांव में आज भी रामायण का पाठ किया जाता हैं, रामायण और राम के बिना दुनिया कल्पना भी कोरी हैं,रामायण ने दुनिया के बड़े हिस्से को प्रभावित किया।
दुनिया की सारी समस्याओं का समाधान अगर कहीं है तो भारतीय चिंतन व सोच में है। यही से विश्वकल्याण का भाव आता है और विश्व कल्याण का भाव आ गया तो सारी उठापटक शांत हो जाए।
राम तो सबके हैं। अंतरराष्ट्रीय रामायण कांफ्रेंस का ध्येय वाक्य है “रामायण की सौम्य शक्ति”।
दुनिया की सभी समस्याओं का हल कहीं है तो भारतीय चिंतन में है, भारतीय सोच में है।
मुख्यमंत्री शिवराज ने कहा कि संस्कारधानी जबलपुर सचमुच में भाग्यशाली है। यहाँ की पावन धरती से भौतिकता की अग्नि में दग्ध विश्व मानवता को शांति का दिग्दर्शन होगा। इस सम्मेलन से रामायण में निहित प्रेम, शांति, प्रसन्नता, एकता एवं भाईचारे का संदेश जाएगा।