भारत और न्यूजीलैंड के कृषि मंत्रियों की हुई मुलाकात, बैठक में शिवराज ने कृषि सांझेदारी को दिया बढ़ावा

केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान और न्यूजीलैंड के कृषि, वानिकी, व्यापार और विदेश मामलों के एसोसिएट मंत्री टॉड मैक्ले के बीच नई दिल्ली में एक उच्चस्तरीय द्विपक्षीय बैठक संपन्न हुई। इस बैठक का मुख्य उद्देश्य दोनों देशों के बीच बागवानी और कृषि क्षेत्र में सहयोग को मजबूत करना था।
बैठक में भारत और न्यूजीलैंड के बीच बागवानी के क्षेत्र में प्रस्तावित मेमोरेंडम ऑफ कॉपरेशन (एमओसी) पर गहन चर्चा हुई। मंत्रियों ने बागवानी में सहयोग को बढ़ावा देने और दोनों देशों के कृषि प्राथमिकताओं को साझा करने पर जोर दिया। शिवराज ने न्यूजीलैंड की सरकार के सक्रिय प्रयासों की सराहना करते हुए कहा कि दोनों देशों के बीच ऐतिहासिक, व्यापारिक और सांस्कृतिक संबंध महत्वपूर्ण हैं। बैठक में न्यूजीलैंड द्वारा भारतीय अनार के आयात और आम के निर्यात पर प्रतिबंध हटाने की दिशा में उठाए गए कदमों की सराहना की गई। चौहान ने उम्मीद जताई कि लखनऊ और दिल्ली में नए ऑडिट की गई वीएचटी सुविधाओं को शीघ्र मंजूरी मिलेगी, जिससे न्यूजीलैंड को भारतीय आमों का निर्यात और बढ़ सकेगा।
इसके अलावा, न्यूजीलैंड के मंत्री मैक्ले ने न्यूजीलैंड से भारत को पाइन लॉग निर्यात की हाल ही में पुनः शुरूआत के लिए धन्यवाद दिया, जिससे उन्हें पिछली चुनौतियों से उभरने में मदद मिली। कृषि मंत्री शिवराज ने इस क्षेत्र में सहयोग जारी रखने के लिए भारत के समर्थन को दोहराया और संतरे व केले जैसे ताजे और सूखे फलों सहित अन्य कृषि उत्पादों में व्यापार के विस्तार की संभावना पर जोर दिया। उन्होंने, विशेष रूप से न्यूजीलैंड को अंगूर निर्यात करने के लिए भारतीय निर्यातकों को शीघ्र बाजार पहुंच प्रदान करने पर विचार करने का उल्लेख किया। दोनों पक्षों ने द्विपक्षीय व्यापार व निवेश को और बढ़ाने के लिए निजी क्षेत्र की भागीदारी को बढ़ावा देने पर सहमति व्यक्त की। बैठक में विशेष रूप से बागवानी और मछली पालन में अनुसंधान एवं विकास के लिए तकनीकी सहयोग के महत्व पर भी चर्चा की गई। मंत्रियों ने दोनों देशों के किसानों, उत्पादकों और उपभोक्ताओं को लाभान्वित करने के लिए आर्थिक और व्यापार संबंधों को मजबूत बनाने की प्रतिबद्धता व्यक्त की।