नए संसद भवन का भव्य उद्घाटन में प्रधानमंत्री मोदी द्वारा सेंगोल स्थापित किया गया

दिल्ली: नए संसद भवन के उद्घाटन समारोह की शुरुआत पूजा से हुई। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ पूजा में लोकसभा स्पीकर ओम बिरला भी मौजूद हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने नए संसद भवन के अंदर सेंगोल स्थापित किया। साथ ही भवन के निर्माण में काम करने वाले श्रमिकों को PM ने सम्मानित भी किया।

PM मोदी ने अपने संबोधन में कहा आज 28 मई 2023 का यह दिन ऐसा ही शुभ अवसर है। देश आज़ादी के 75 वर्ष होने पर अमृत महोत्सव मना रहा है। आज सुबह ही संसद भवन परिसर में सर्व पंथ प्रार्थना हुई है। मैं सभी देशवासियों को इस स्वर्णिम क्षण की बहुत बधाई देता हूं। यह सिर्फ भवन नहीं है यह 140 करोड़ भारतीयों की आकांक्षाओं का प्रतिबिंब है। यह हमारे लोकतंत्र का मंदिर है।

मोदी ने कहा कि जैसे ही भारत की संसद के नए भवन का उद्घाटन हुआ है, हमारे दिल और दिमाग गर्व और आशा से भर गए हैं। यह प्रतिष्ठित इमारत सशक्तिकरण, सपनों को जगाने और उन्हें हकीकत में बदलने का उद्गम स्थल बने। यह हमारे महान राष्ट्र को प्रगति की नई ऊंचाइयों तक ले जाए। यह नया भवन हमारे स्वतंत्रता सेनानियों के सपने को साकार करने का साधन बनेगा। यह नया भवन आत्मनिर्भर भारत के सूर्योदय का साक्षी बनेगा। यह नया भवन विकसित भारत के संकल्पों की सिद्धी होते हुए देखेगा। नए रास्तों पर चलकर ही नए प्रतिमान गढ़े जाते हैं। आज नया भारत नए लक्ष्य तय कर रहा है। नया जोश है, नई उमंग है, दिशा नई है, दृष्टि नई है। आज इस ऐतिहासिक अवसर पर कुछ देर पहले संसद की नई इमारत में पवित्र सेंगोल की भी स्थापना हुई है। महान चोल साम्राज्य में सेंगोल को कर्तव्य पथ का, सेवा पथ का, राष्ट्र पथ का प्रतीक माना जाता था। राजा जी और अधिनम के संतों के मार्ग दर्शन में यही सेंगोल सत्ता के हस्तातंरण का प्रतीक बना था। तमिलनाडु से विशेष तौर पर अधिनम के संत भवन में हमें आशीर्वाद देने के लिए उपस्थित हुए थे। आज नए संसद भवन को देखकर हर भारतीय गौरव से भरा हुआ है। इसमें वास्तू, विरासत, कला, कौशल, संस्कृति और सविंधान भी है। लोकसभा का आंतरिक हिस्सा राष्ट्रीय पंक्षी मोर पर आधारित है, राज्यसभा का आंतरिक हिस्सा राष्ट्रीय फूल कमल पर आधारित है। संसद के प्रांगण में राष्ट्रीय वृक्ष बरगद भी है।

नई संसद में राज्यसभा के उपसभापति हरिवंश नारायण सिंह ने कहा हमारा वर्तमान संसद भवन देश की लोकतांत्रिक गतिविधियों का जीवंत केंद्र रहा है। हमारी प्रगति का मार्गदर्शक रहा है। यह भवन भारत की स्वतंत्रता प्राप्ति तथा संविधान निर्माण से लेकर हमारी गौरवशाली लोकतांत्रिक यात्रा के दौरान अनेक ऐतिहासिक घटनाओं का साक्षी रहा है।

लोकसभा अध्यक्ष ने कहा कि आजादी के अमृतकाल में पूरा देश आज इस ऐतिहासिक पल का साक्षी बन रहा है। मैं PM मोदी को साधुवाद देता हूं जिनके दृढ़ संकल्प और प्रेरक मार्गदर्शन से संसद का ये नया भवन 2.5 साल से भी कम अवधि में बनकर तैयार हुआ।

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